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अपने हसीन होंठों को

अपने हसीन होंठों को किसी परदे में छुपा लिया करो, हम गुस्ताख लोग हैं नज़रों से चूम लिया करते हैं...
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कभी कुछ ग़म

कभी कुछ ग़म - Ishq Mein Dewanagi
कभी कुछ ग़म भी हो हरदम ख़ुशी अच्छी नहीं होती,
हमेशा एक जैसी ज़िन्दगी अच्छी नहीं होती,
उसे पाकर तुम अपने आप को भी भूल बैठे हो,
किसी पर इतनी भी दीवानगी अच्छी नहीं होती।

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